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जािरी हैं , तो देश को अपनरी आजादरी के 75 वें वर्ष में पहलरी दफा कोई आदिवासरी राष्ट्रपति मिलेगा । इसको लेकर सोशल मरीतडरा पर काफ़ी चर्चाएं हो रहरी हैं । आदिवासियों का जनमानस इसे एक बड़े अवसर के तौर पर देख रहा है । हालांकि झारखंड के मुखरमंत्ररी हेमंत सोरेन भरी संथाल आदिवासरी हैं और आदिवासियों के मुद्े को लेकर काफ़ी मुखर रहते हैं । इस मुद्े पर सोरेन करी हमेशा यह शिकायत रहरी है कि आदिवासरी नेताओं को लुटियंस के इलाके में वह सममान नहीं मिल पाता , जिसके वे हकदार
हैं । ऐसे में अब अगर किसरी संथालरी आदिवासरी को लुटियन जोन के केंद् में रायसरीना तह्स करी पहातडरों पर बने राष्ट्रपति भवन में जाने का अवसर मिलने करी संभावनाएं हैं , तो हेमंत सोरेन के पास ्रा विक्प हैं ? ्रा उनकरी पाटटी यूपरीए के आधिकारिक प्रतराशरी यशवंत सिनहा को वोट करेगरी या फिर आदिवासरी अस्मिा के नाम पर वे यूपरीए में रहते हुए भरी एनडरीए करी प्रतराशरी द्ौपदरी मुर्मू के पक्ष में वोटिंग के लिए अपनरी पाटटी के लोगों को तैयार करेंगे । ्रोंकि , देश करी सियासत में ऐसे उदाहरण हैं , जब राष्ट्रपति चुनाव में क्षेत्ररीय दलों ने अपने गठबंधन से इतर वोटिंग करी हो ।
सोरेन के द्रौपदी मुर्मू से आमिीय सम्ंध
यह बात और भरी महतिपूर्ण इसलिए हो जािरी है ्रोंकि द्ौपदरी मुर्मू से सोरेन परिवार के निजरी रिशिे काफ़ी मधुर रहे हैं । कई मौकों पर मुखरमंत्ररी हेमंत सोरेन अपनरी पत्नी क्पना सोरेन के साथ उनसे मिलते जाते रहे हैं और दोनों नेताओं ने एक-दूसरे करी प्रतिष्ठा का हमेशा खराल रखा है । हालांकि , हेमंत सोरेन ने अभरी तक अपने पत्े नहीं खोले हैं । उनकरी पाटटी के प्रि्िाओं का कहना है कि यह निर्णय जेएमएम प्रमुख शिबू सोरेन और पाटटी के कार्यकाररी अधरक्ष के साथ मुखरमंत्ररी हेमंत सोरेन को हरी लेना है । जेएमएम के एक बड़े नेता का यह भरी कहना है कि हमाररी पाटटी विपक्षरी पार्टियों करी बैठक में शामिल रहरी है । लिहाजा , इस बारे में मरीतडरा के कयासों पर कुछ भरी कहना थोड़ी ज्दबाजरी होगरी । जो भरी निर्णय होगा , वह हमारे नेता मिल- बैठकर आपसरी सहमति से लेंगे । इसके लिए थोडा इंिज़ार करना चाहिए ।
जेएमएम में मुर्मू के समर्थन का माहरौल
इस बरीच जेएमएम के गिरिडरीह के विधायक और पाटटी के महासचिव सुदिवर कुमार का एक ट्वीट चर्चा में है , जो उनहोंने द्ौपदरी मुर्मू करी उम्मीदवाररी करी घोषणा के तुरंत बाद किया था ।
उनहोंने जोहार द्ौपदरी मुर्मू लिखा , जिसके बाद कयास लगाए जाने लगे कि कहीं जेएमएम भरी उनकरी उम्मीदवाररी के पक्ष में तो नहीं । सुदिवर कुमार ने इस बावत कहा कि उनकरी वरक्िगत इचछा है कि द्ौपदरी मुर्मू देश करी राष्ट्रपति बनें । उनहोंने कहा , " हमाररी पाटटी पिछले िरीन दशक से भरी अधिक वक़ि से आदिवासरी अस्मिा , उनके अधिकार और उनके मुद्ों को लेकर लड़ती रहरी है । अब जब किसरी आदिवासरी नेता को पहलरी बार राष्ट्रपति पद का प्रतराशरी बनाया गया है , तो मेररी प्रबल इचछा है कि हमें उनका समर्थन करना चाहिए । हालांकि , यह मेररी नितांत वरक्िगत राय है । इस मुद्े पर जेएमएम जो भरी निर्णय लेगा , मैं उसके साथ हरी जाऊंगा । मेरा वोट उसरी को मिलेगा , जिसे मेररी पाटटी समर्थन देगरी ।"
दुविधा पर हावी विकल्पहीनता
राजनरीतिक मसलों के जानकारों का मानना है कि अगर मुखरमंत्ररी हेमंत सोरेन भरी द्ौपदरी मुर् करी उम्मीदवाररी का समर्थन कर दें , तो आशचर्य जैसरी बात नहीं होनरी चाहिए । यह ्िाभाविक बात है । राष्ट्रपति चुनावों में ऐसा पहले भरी हो चुका है । आदिवासरी प्राइड और सत्ा में तह्सेदाररी एक बडा सवाल है , जिसे आसानरी से ख़ारिज नहीं कर सकते । हेमंत सोरेन इससे अलग नहीं हैं । उनकरी पाटटी करी नरीतियां और उनकरी पारिवारिक पृष्ठभूमि आदिवासरी प्राइड के इर्द-गिर्द हरी रहरी है । ऐसे में यह संभावना बनिरी है कि वे देर-सबेर गठबंधन करी लाइन से अलग निर्णय ले लें । ऐसा हो भरी सकता है कि यूपरीए प्रतराशरी के ख़िलाफ वोटिंग का निर्णय लेने करी स्थति में कांग्ेस उन पर दबाव बनाने करी कोशिश करे । लेकिन , झारखंड में कांग्ेस करी स्थति और उसके पुराने इतिहास को देखकर इसकरी आशंका तफलहाल नहीं दिखिरी । लिहाजा यह कहना गलत नहीं होगा कि सोरेन अगर ईमानदाररी से विचार करें तो उनके समक्ष तमाम राजनरीतिक दुविधाओं के बरीच सैद्धांतिक विक्पहरीनता हरी सुविधा भरी है जिसका उपयोग करने में हिचक दिखाने का कोई मतलब नहीं है । �
tqykbZ 2022 29