Ujesha Times may internet | Page 41

 मई-2019 39 xkSjryc िकसान से जड़े ु म ु े एसी म म तय होते ह और कछ ही घट ं म सोशल मीिडया पर पख लगाकर उड़ने लगते ह. इसके कछ बड़े लेयर तो ह त दस िदन म एक दो लाईन का मटैर सोशल मीिडया पर डालते ह और उनक टीम इसे करोड़ लोग के बीच ले जाती ह.ै भारतीय मानस क साथ अजीब तरह का खल चल रहा ह.ै सम या भी खद ु ही बनाते ह और समाधान भी खद ु ही तय करते ह. और गजब यह ह ै िक समाधान को वे सौ फ सदी सही मान भी लेते ह. िमसाल के तौर पर कालाधन आएगा तो हर आदमी के खाते म प ह लाख पए आएगे ं . न काला धन आया न प ह लाख. मगर जमला चलाने वाल ने अपना काम कर िलया. ऐसे ही िकसान के दो लाख तक के कज माफ का नारा चला और हक कत म जो काम दस िदन म होना था वह सौ िदन म भी नह हो पाया. ऐसे ही अब चल रहा ह ै बेरोजगार को हर साल 72 हजार पए दग े. नारा ह ै चल गया तो पाट सरकार म भले ही प ह लाख क तरह य भी न िमले. यह आशका इसिलए िक आिखर 25 करोड़ लोग को हर साल 72 हजार पए दश कहा ं से लाएगा. िवकास काय का िकतना िह सा इस तरह क घोषणाओ ं पर खच होगा और दश क िश ा उ ोग और रसच पर इस घोषणा का िकतना द ु भाव पड़ेगा. न कोई बताने वाला ह.ै न कोई पछन वाला और न कोई सनन के िलए वाला. ये सब बात वोट जगाड़न कायकता के ज रए वोटर तक जाएगी. मतदान तक कायकता क थोड़ी पछ परख और प रणाम के बाद वोटर और कायकता दोन अगले चनाव तक के िलए िसयासत से ो कर िदए जाएगे ं . अभी मतदान तक सबक जय जय… ऐसई पछा… आिखर हमारे नेतागण ऐसा कौन सा धधा करत ह िक पाच साल म उनक सपि िबना कछ िकए ही सौ गना से यादा बढ़ जाती ह.ै जबिक नेता लोग चौबीस घटे ं बारह महीने 365 िदन िसफ राजनीित करते ह तो वे पैसा कहा ं से कमाते ह. बेईमान तो वे ह नह उनके ईमान पर कोई शक भी नह ह ै लेिकन दश क जनता को वे उस अलादीन के िचराग का कछ अश कायकता और जनता के िलए भी महय ै ा करा द तािक उनक मफिलसी दर ू हो जाए. इतजार ह ै कोई बड़ िदल का नेता इस काम को शायद कर जाए…< www.ujeshatimes.com और तब ं ू तानने के काम भी इवट मनैेजर क िज म े हो गए ह. जैसे पहले कभी शादी म प रवार और मोह ले के लोग भोजन बनाने से लेकर परसने तक का दािय व उठाते थे, अब वह काम टट वाले से लेकर शादी डाट काम वाले ही िनपटा लेते ह. ये जो व बदल रहा ह ै उसस इवे ट वाल के अ छे िदन तो आ ही गए ह. लाक तर तक क सम याओ ं के िलए एनजीओ म काम करने वाली टीम सारे डाटा इक े कर माननीय को लैपटाप और पावर वाइट ं जटेशन के ज रए बताते ह. साथ ही वे ही सम याओ ं के समाधान भी बताते ह. कता पायजामा पहने लैपटाप का बैग लटकाए, बढ़ी हई दाढ़ी वाले मै ो िसटी से पढ़े हए लड़के जब फराटे से अ ं ेजी बोलते हए अपना जटेशन करते ह तो ऐसा लगता ह ै मानो अब सब कछ इ ह के ज रए ठीक हो जाएगा. चनाव भी जीत जाएगे ं , सरकार भी बन जाएगी और म ं ी बनने क बाद यही शहरी नौजवान क टीम अगले चनाव तक समाधान का जटेशन बनाएगी. अब इस बदलाव म िसयासत का वो िकरदार हािशए पर चला गया िजसके िलए पैसा नह लीडर मह वपण ू था. पद नह पाट उनके िलए ाण थी. अपना रसख नह बि क जो उनके नेता ह उनक इ जत बढ़े, इसी के िलए वे िदन रात लगे रहते थे. यह सब भख े यासे रहकर भी िसफ इसिलए सब काम करते थे तािक उनक पाट और लीडर िज दाबाद हो, भले ही वे फक री म रह. कायकताओ ं क ऐसी जमात को अब भावक,िज ी और जननी ू माना जाता ह.ै ऐस लोग को शरीफ लोग क भाषा म बेवकफ क बजाए सीध े कहा जाता ह पाट और नेताओ ं के आसपास टे नो े ट और जेएनय ू से पढ़े ितभावान ऐसे ब च का समह ू भी ह ै जो सम या बताता ह ै और उनका शहरी अदाज म समाधान भी. खास बात यह ह ै िक ाउड ं जीरो पर जाकर सम या के वा तिवक हल पर यादा काम नह हो रहा ह.ै इन िदन भारतीय राजनीित म अजीब दौर चल रहा ह.ै चनाव भारत म और तरीके िवदश ी लाग ू िकए जा रह े ह. अमे रका क तज पर फे सबक, और हाटसअप टिवटर के ज रए चार करने के िलए भारी भरकम टीम लगाई गई ह.ै रोजाना गाव ं और