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संविधान सभा में डा . आंबेडकर का अंतिम भाषण
कृ तज्ञता , आशंकाएं , सुझाव और संकल्प
डा . शिव पूजन प्साद पाठिक
संविधान 26 नवंबर 2024 को अपनमी यारिा का 75 वर्ष पमूिा भाििमीय
कर लेगा । यह यारिा भाििमीय जनतंरि ने संविधान कमी मानयिाओं के आधार पर तय हुई है । भारत ने कई बाधाओं को पार करते हुए अपने आपको एक संवैधानिक देश के रूप में सथापति किया है । राषट्र के जमीिन में यह अवधि बहुत बड़मी नहीं होिमी है , लेकिन फिर भमी यह एक स्मीक्ा का अवसर है । ऐसे में प्रारूप समिति के अधयक् डा . आंबेडकर का संविधान सभा में अंतिम भाषण 25 जनििमी 1949 को हुआ था । यह भाषण बहुत हमी सार्थक और प्रासंगिक है , जिसमें उनहोंने संविधान कमी कार्य प्रणािमी , जनतंरि के सफल होने कमी पमूि्ख दशाएं और असफल होने कमी आशंकाएं बताई हैं ।
संविधान सभा कमी पहिमी बैठक 9 दिसंबर 1946 को हुई थमी और पमूिा संविधान दो वर्ष , गयािह माह और सरिह दिन में तैयार हुआ था , जिसके लिए संविधान सभा के कुल सरिह सरि हुए थे । इन सरिह सरिों में से प्रथम छः सरि लक्य्मूिक संकलप पारित करने और ्मूिाधिकार विषयक , संघ संविधान विषयक , संघ कमी शक्ियों , प्रान्तीय संविधान विषयक , अलपसंखयक-वर्ग विषयक तथा अनुसमूवचि क्ेरिों और अनुसमूवचि जनजातियों विषयक समितियों के प्रतिवेदनों पर विचार करने के लिए हुए । सातवें , uoacj 2024 35