कुल बजट 130794.90 करोड़ रुपये है ।
परीएमजय -आयुष्ान भारत योजना
गरीबी के कतारण बीमतारियों कता इलताज नहीं करता पताने की वंचित तबके के लोगों की विवशतता को समझते हुए 23 सितंबर 2018 को केद्रि सरकतार ने आयुष्मान भतारत योजनता की शुरूआत की थी । इस योजनता के तहत देश की आधी आबतादी यतानी 10 करोड 74 लताख परररतारों के 50 करोड लोगों को सतालतानता 5 लताख रुपये तक के मुफत इलताज की सुविधता उपलबध करताने कता
योजनता कता लताभ पताने रतालों में 46.7 प्रतिशत लताभार्थी वंचित तबके की महिलताएं ही हैं ।
द्िशन इंद्रधनुष
जन्म के बताद आर्थिक तौर पर सक्म लोगों के बच्चों को तो जतानलेरता बीमतारियों से बचतार कता टीकता लग जतातता थता लेकिन वंचित व गरीब तबके के लोगों तक इस सुविधता की पहुंच अब तक पूरी तरह सुनिश्चित नहीं हो पताई थी । इसे देखते हुए 25 दिसंबर , 2014 को 2 सताल तक के बच्चों के सताथ ही गर्भवती महिलताओं के लिए भी 100 फीसदी टीकताकरण को सुनिश्चित करने
टीकताकरण कताय्वक्रम के मताधयम से कवर कियता जतानता है ।
प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना
गरीबी के कतारण कुपोषण की मतार झेल रही महिलताओं को प्रसव के दौरतान कमजोर शरीर की वजह से जो दिककतें व परेशताकनयतां झेलनी पडती थीं और जच्चता — बच्चता की जतान पर खतरे की जो तलरतार लटकी रहती थी उस परेशतानी को दूर करके वंचित तबके की भलताई के लिए मतातृ वंदनता योजनता की शुरूआत 2016 में हुई । 1 जनवरी , 2017 से देश के सभी जिलों में यह योजनता लतागू है । इसके तहत गर्भवती महिलताओं की सुरकक्त डिलिवरी करताने और सतनपतान करताने रताली मतातताओं को अच्छा पोषण देने के लिए 5 हजतार रुपए दिए जता रहे हैं । आज देश के 650 जिलों में इस योजनता कता रतायदता उ्ताने रताली महिलताओं की संख्या करीब दो करोड है । वित्ीय
लक्य रखता गयता है तताकि पैसों की किललत और गरीबी के कतारण किसी को भी समुचित इलताज की सुविधता से वंचित नता होनता पड़े । आयुष्मान भतारत योजनता के तहत मताच्व 2022 तक 17.90 करोड से अधिक लताभताकथ्वयों को आयुष्मान कताड्ट मुहैयता करताए गए हैं और इनमें से 3.28 करोड से अधिक लोग उपचतार की सुविधता भी ले चुके हैं । इस योजनता से करीब 27,300 निजी एवं सरकतारी असपतताल जुड़े हुए हैं । सताथ ही इस योजनता के तहत 141 ऐसे चिकितसकीय प्रतारधतान शताकमल किए गए हैं , जो सिर्फ महिलताओं के लिए हैं । अकटूबर 2019 से सितंबर 2021 तक इस
के लिए मिशन इंरिधनुष की शुरूआत की गई तताकि टीकताकरण से कोई बच्चता यता मतां सिर्फ इस लिए वंचित नता रह जताए कयोंकि उसके पतास पयता्वपत पैसता यता संसताधन उपलबध नहीं है । मिशन इंरिधनुष की शुरुआत के वकत 7 बीमतारियों के टीके इसके तहत लगताए जताते थे । वर्तमतान में इसकी संख्या 12 तक पहुंच गई है । इसमें अभी तक तक 4.10 करोड बच्चे को वैकसीनेट़ेड कियता जता चुकता है । फरवरी 2022 में सघन मिशन इंरिधनुष 4.0 शुरू कियता गयता है , जिसके तहत सतालतानता तीन करोड से अधिक गर्भवती महिलताओं और 2.6 करोड बच्चों को सतार्वभौमिक
वर्ष 2018 से 2020 के मधय इस योजनता के तहत 1.75 करोड पतात्र लताभताकथ्वयों को कुल 5931.95 करोड रुपए कता भुगततान कियता गयता । राष्टरीय पोषण द्िशन
8 मताच्व , 2018 को अंतर्राष्ट्रीय महिलता दिवस के अवसर पर केद्रि सरकतार ने रताजस्थान से राष्ट्रीय पोषण मिशन की शुरूआत की थी । उससे पहले इस योजनता कता नताम 2017 मे न्यूट्रिशन मिशन थता जिसे 2018 में पोषण अभियतान कता नताम देकर बहुत बड़े सकेल पर लतागू कियता गयता । इस योजनता के तहत शिशु के
twu 2022 11