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नजर नह़ी आत़ी है ।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव मंदिरों में माथा टेक रहे हैं और राम मंदिर के निर्माण के बाद सरपिरवार दर्शन करने आने का वादा भ़ी लोगों के ब़ीि कर चुके हैं । हालांकि , माफिया मुखतार अंसाऱी के भाई को सपा में शामिल कराकर अखिलेश यादव ने साबित कर दिया है कि यूप़ी विधानसभा चुनाव 2022 में केवल जिताऊ उम्मीदवारों पर ह़ी दांव लगाया जाएगा । लेकिन , सपा के सामने समसया यह़ी आएग़ी कि कारसेवकों पर गोि़ी चलवाने के आरोपों क़ी अखिलेश यादव के पास कोई काट नहीं है । अनुचछेद 370 और स़ीएए जैसों मुद्ों पर सपा और अखिलेश यादव अपने पहले के दिए बयानों पर ह़ी फंसते हुए ह़ी दिखाई पडते हैं । तो , भूल सुधार अभियान उनक़ी सियास़ी मजबूऱी है ।
उत्र प्रदेश के तमाम क्त्पों सपा , बसपा पर
जातिगत राजऩीलत करने का ठपपा लग चुका है । मायावत़ी दलितों का मस़ीहा बन राजऩीलत करत़ी आई हैं । ब्ाह्मणों को सोशल इंज़ीलनयरिंग के सहारे साथ लाकर सत्ा क़ी कुसटी पा चुक़ी मायावत़ी अब इस़ी चुनाि़ी फॉर्मूले को फिर से अपना रह़ी हैं । कयोंकि , केवल दलितों या मुलसिमों को वोटों से उत्र प्रदेश क़ी सत्ा में वापस़ी कर पाना मुलशकि है । धारा 370 , राम मंदिर , स़ीएए जैसे मुद्ों पर मायावत़ी ने भाजपा का पक् लेते हुए ह़ी समर्थन जताया है ।
इसे आसान शबदों में कहें , तो बसपा सुप्ऱीमो मायावत़ी ने भाजपा क़ी राजऩीलतक सोच को सह़ी करार दे दिया है । एआईएमआईएम ि़ीर असदुद्दीन ओवैस़ी से गठबंधन क़ी बात पर खुद ह़ी सफाई देकर उनहोंने सॉफट हिंदुति का तार छेड ह़ी दिया है । वहीं , मुखतार अंसाऱी सऱीखे माफियाओं का टिकट काट कर मायावत़ी ने
बसपा और अपऩी छवि को सुधारने क़ी कोशिश क़ी है । सोशल इंज़ीलनयरिंग के दम पर 2007 में सत्ा में आई मायावत़ी ने पाकमों और मूर्तियों के निर्माण से तौबा करते हुए सूबे के विकास पर धयान केंलरित करने क़ी बात कह़ी है । यूप़ी विधानसभा चुनाव 2022 में भूल सुधार के बाद एक बदि़ी हुई बसपा सबके सामने होग़ी ।
कांग्ेस क़ी बात करें , तो पाटटी महासचिव प्रियंका गांि़ी अच्छी तरह से जानत़ी हैं कि उत्र प्रदेश में कांग्ेस अभ़ी इस लसथलत में नह़ी है कि अकेले दम पर सरकार बना सके । इस़ी वजह से कांग्ेस मुलसिम , दलित , ब्ाह्मण , ओब़ीस़ी समेत सभ़ी िगमों को अपने पक् में लाने क़ी कोशिश कर रह़ी है । लेकिन , स़ीएए , धारा 370 , त़ीन तलाक जैसे मुद्ों पर पाटटी का विरोध यूप़ी चुनाव में उसके खिलाफ जाता दिखाई पड रहा है । जिसक़ी वजह से कांग्ेस ने सॉफट हिंदुति कार्ड के जरिये खुद को संभालने क़ी कोशिश क़ी है । राम मंदिर के फैसले का सिागत इस़ी का हिससा माना जा सकता है । वरर्ठ कांग्ेस़ी नेता सलमान खुशटीद मुलसिम समुदाय में पैंठ बनाने क़ी कोशिश कर रहे हैं । नस़ीमुद्दीन सिद्दीक़ी क़ी और कऱीि खान सऱीखे चेहरों के सहारे कांग्ेस इस वोटबैंक में प़ीछे के दरवाजे से सेंध लगाने क़ी कोशिश कर रह़ी है । लेकिन , ये सभ़ी कवायदें चुनाि़ी भूल सुधार अभियान के तहत ह़ी आएंग़ी ।
दिल्ली के मुखयमंत्री अरविंद केजऱीिाल क़ी आम आदम़ी पाटटी उत्र प्रदेश में अपने विसतार के लिए तिरंगा यात्ा निकाल रह़ी है । आम आदम़ी पाटटी के नेता और दिल्ली के डिप्टी स़ीएम मऩीष सिसोदिया राम राजय को सुशासन का पर्याय बता रहे हैं । पाटटी के नेता संजय सिंह कह रहे हैं कि वो भाजपा के रजटी रा्ट्रवाद को बेनकाब करेंगे । लेकिन , अरविंद केजऱीिाल ह़ी वो शखस हैं , जिनहोंने मोद़ी सरकार से सर्जिकल सट्राइक के सबूत मांगे थे । आम आदम़ी पाटटी वह़ी सियास़ी दल है , जो रामजनमभूमि पर राम मंदिर क़ी जगह यूनिवर्सिट़ी बनाने क़ी बात कहता था । इन बयानों क़ी वजह से ह़ी अरविंद केजऱीिाल क़ी आम आदम़ी पाटटी यूप़ी में सामूहिक भूल सुधार
tuojh 2022 दलित आं दोलन पत्रिका 45