ममता ने उस मुशसलम वो्ट बैंक पर अपनी पकड़ बनाए रखी , जो लगभग सौ से अक्धक सी्ट के परिणाम को प्रभाक्वत करने की शसथत में हैं । इसके साथ ही तृणमूल ने ' बंगाल को चिाक्हए अपनी बे्टी का नारा ” देकर लगभग 50 मक्हला उममीदवारों को चिुनाव मैदान में भी उतारा , क्जनमें से अक्धकांश ने क्वज्य हाक्सल की । सथानी्य बनाम बाहरी का दांव खेलकर बांगला संस्कृक्त , बांगला भाषा और बंगाली अशसमता के मसले को तृणमूल ने क्जस तरह से उभारा , उसका लाभ ममता को क्मला । राज्य में भाजपा के पास न तो मुख्यमंरिी पद का कोई चिेहरा था और ना ही कोई तेजतर्रार मक्हला नेता जो ममता को उनकी शैली में जवाब देने की स्थिति में होती । चिो्ट के बावजूद वहील चिे्यर पर धुआंधार प्रचिार करने के कारण सहानुभूक्त की लाभ भी तृणमूल की
क्वज्य का एक बड़ा कारण कहा जा सकता हैI शा्यद ्यही वजह रही क्क पार्टी के कई बड़़े कद के नेता भी चिुनाव में वजह नहीं हाक्सल कर पाए । बाबुल सुक्प्र्यो , लॉके्ट चि्टजजी , सवप्न दासगुपता , पूर्व सेना उपप्रमुख लेफ्टिनें्ट जनरल सुरित साहा जैसे नेता चिुनाव में हार गए । इसी तरह चिुनाव से पहले तृणमूल का साथ छोड़ भाजपा में शाक्मल होने वाले अक्धकतर उममीदवारों को हार का सामना करना पड़ा है ।
अलपसंख्यक तुष्टिकरण राजनीक्त के क्लए कुख्यात बंगाल में दक्लत , आक्दवासी और क्पछड़़े वर्ग की जनता के क्लए जीवन्यापन करना भारी पड़ रहा है । राज्य के राजनीक्तक हालात के कारण आक्दवासी , गोरखा , कामतापुरी , राजवंशी , मतुआ ( नामशुद्र समुदा्य ), बांगलादेश से आ्ये क्हंदू शरणाक्थ्यों की क्नगाह भाजपा पर है । राज्य
के कई क्ेरिों में क्हत्दुओं की आबादी लगातार घ्ट रही है और उतपीड़न के कारण क्हत्दुओं क्वशेष रूप से दक्लत और आक्दवासी वर्ग की जनता को पला्यन करने के क्लए मजबूर हैI 24 परगना , मुक्श्यदाबाद , बीरभूक्म , मालदा आक्द कई क्ेरिों में अवैध बांगलादेशी और रोक्हंग्या ड़ेरा जमाए हुए हैं । इनका पालन-पोषण करने का पूरा फा्यदा तृणमूल ने उठा्या है । केंद्र सरकार की जनउप्योगी ्योजनाओं को लागू न करना और तृणमूल नेताओं का भ्य , भ्रष्टाचिार और क्हंसा के कारण आम जनता के बीचि भाजपा की बढ़ती लोकक्प्र्यता को चिुनाव परिणाम से सामने रखा है । आक्दवासी , दक्लत , क्हंदुतव और तृणमूल क्वरोधी वर्ग में बढ़ते प्रभाव के मध्य राज्य की राजनीक्त में भाजपा एक नई रेखा खींचिने की कोक्शश में जु्टी भाजपा भक्वष्य में सत्ा पर
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